Hardware and software क्या है?

कम्‍प्‍यूटर सिस्‍टम निम्‍न कम्‍प्‍यूटर से मिलकर बनता है।

1. कम्‍प्‍यूटर हार्डवेयर (Computer Hardware) 

●  इनपुट डिवाइस
●  आउटपुट डिवाइस

2. कम्‍प्‍यूटर सॉफ्टवेयर (Computer Software)

●  सिस्‍टम सॉफ्टवेयर
●  एप्‍लीकेशन सॉफ्टवेयर
●  यूटीलिटी सॉफ्टवेयर

3. कम्‍प्‍यूटर फर्मवेयर (Computer firmware)


◆  कम्‍प्‍यूटर हार्डवेयर (Computer Hardware) 

Computer के सभी कलपुर्जों, भागों, उपकरणों आदि को हार्डवेयर कहा जाता है। Hardware को हम आँखों से देख तथा हाथों से छू सकते हैं। हार्डवेयर स्‍वयं कोई काम नहीं करता, इससे कार्य कराने के लिए सॉफ्टवेयर का प्रयोग किया जाता है। 

इनपुट डिवाइस (Input Device) – वे डिवाइस जिनका उपयोग User के द्वारा computer को निर्देशों को प्रदान करने के लिए किया जाता है, ये 
Input Device कहलाती है। 

इनपुट डिवाइस User से इनपुट लेने के बाद इसे मशीनी language में counvert कर CPU के पास भेज देती है। 

आउटपुट डिवाइस (output device) – Computer की Processing होने पर प्राप्‍त परिणामों को आउटपुट कहते हैं। परिणामों को जिन आउटपुट उपकरणों की मदद से प्रदर्शित किया जाता है। उन्‍हें आउटपुट उपकरण (Output Device) कहते हैं।

Computer से 2
 प्रकार के परिणाम प्राप्त होते हैं। 

(1) Soft copy output.
(2) Hard copy output.


◆ कम्‍प्‍यूटर सॉफ्टवेयर (Computer Software) 

कम्‍प्‍यूटर बिना सॉफ्टवेयर के एक मृत (Dead) मशीन है। कम्‍प्‍यूटर से कोई कार्य करवाने के लिए हमें आदेश देने पड़ते हैं। आदेशों के समूह को प्रोग्राम कहा जाता है। एक निश्चित कार्य के लिए एक निश्चित प्रोग्राम बनाया जाता है 

कई प्रोग्राम मिलकर एक कार्य को सम्‍पादित करते हैं। प्रोग्रामों का यह समूह सॉफ्टवेयर कहलाता है।
इसलिए शब्‍द सॉफ्टवेयर का अर्थ है – प्रोग्रामों का समूह, कार्य प्रणाली तथा अन्‍य संबंधित प्रलेख (Document) जैसे फ्लोचार्ट, मेनुअल आदि का सम्मिलित रूप। 

अत: हम कह सकते हैं कि कम्‍प्‍यूटर सॉफ्टवेयर प्रोग्रामों का समूह होता है, जिसका कार्य computer hardware की क्षमताओं का उपयोग करना होता है। computer Software तीन प्रकार के होते हैं -

सिस्‍टम सॉफ्टवेयर (System Software) – जो प्रोग्राम Computer को चलाने, उसको नियन्त्रित करने, उसके विभिन्‍न भागों की देखभाल करने तथा उसकी सभी क्षमताओं का अच्‍छे–से-अच्‍छा उपयोग करने के लिए लिखे जाते हैं, उनको सम्मिलित रूप से सिस्‍टम सॉफ्टवेयर कहा जाता है। Computer से हमारा सम्‍पर्क सिस्‍टम Software के माध्‍यम से ही हो पाता है। कार्यों के आधार पर सिस्‍टम सॉफ्टवेयर निम्‍न प्रकार के होते हैं-

1. ऑपरेटिंग सिस्‍टम (Operating system)
2. भाषा अनुवादक (Language Translator)
3. डिवाइस ड्राइवर (Device Driver)

एप्‍लीकेशन सॉफ्टवेयर (Application Software) – यह एक या एक से अधिक प्रोग्रामों का समूह है, जिसे किसी विशेष अनुप्रयोग (Application) को हल करने के लिए बनाया जाता है। इनका कार्य निश्चित होता है। Application Software अनेक प्रोग्रामों का समूह होता है। इसलिए इसे Application पैकेज कहते हैं। इस Software केे निम्‍न उदाहरण इस प्रकार हैं-

1. एम.एस.वर्ड (MS-Word)
2. एम.एस.एक्‍सेल (MS- Excel)
3. एम.एस.पावर पाइंट (MS-Power point)
4. एम.एस.एक्‍सेस (MS Access)
5. एम.एस.आउटलुक (MS Outlook)
6. एम.एस.पब्लिशियर (MS publisher) 

यूटिलिटी सॉफ्टवेयर (Utility Software) – छोटे काम को एक निश्चित समयावधि में पूरा करना यूटीलिटी softwere कहलाता है। ये प्रोग्राम्‍स कम्‍प्‍यूटर के कार्यों को सरल बनाने, उसे अशुद्धियों से दूर रखने तथा सिस्‍टम को सुरक्षित रखने में महत्‍वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। ये पैकेज होते हैं, जो सॉफ्टवेयर को Install करते समय कम्‍प्‍यूटर में लोड हो जाते हैं।

उदाहरण: एंटीवायरस (Antivirus)

फर्मवेयर सॉफ्टवेयर (Firmware Software) – ऐसे Software जो Hardware के रूप में ROM में संग्रहित (Store) होते हैं, फर्मवेयर कहलाते हैं। जैसे- BIOS (Basic Input output system) प्रोग्राम, यह प्रोग्राम कम्‍प्‍यूटर बूटिंग में सहायक होते हैं।


हार्डवेयर एवं सॉफ्टवेयर समस्‍याएँ तथा उनका समाधान (Hardware and Software Problems and their solution) -

Computer का प्रयोग करते समय यूजर को अनेक प्रकार की समस्‍याओं का सामना करना पड़ता है। इनमें से कुछ समस्‍याएँ जटिल तथा कुछ बेहद आसान होती है। जटिल समस्‍याओं के समाधान के लिए Computer expert की आवश्‍यकता होती है, जबकि आसान समस्‍याओं का समाधान यूजर स्‍वयं भी कर सकता है। ऐसी ही कुछ समस्‍याएँ(Problems) तथा उनके समाधान (Solution) निम्‍नलिखित है-

1. कम्‍प्‍यूटर का स्‍टार्ट न होना - इसका सबसे बड़ा कारण computer में उचित पावर की सप्‍लाई का न होना है, इस समस्‍या के Solution के लिए User को कम्‍प्‍यूटर से जुड़ी हुई सभी तारों (Wires) तथा सॉकेटों को ठीक प्रकार से जाँच करनी चाहिए।

2. मॉनीटर पर कुछ प्रदर्शित न होना - मॉनीटर पर कुछ दिखाई न देना एक बहुत साधारण समस्‍या (Simple Solution) है। इस समस्‍या के समाधान के लिए user को यह देखना चाहिए कि Monitor में पॉवर सप्‍लाई की ब्राइटनेस (Brightness) तथा कण्‍ट्रास्‍ट (Contrast) लेवल भी जाँचनी चाहिए, 

क्‍योंकि कई बार इनके ज्‍यादा डार्क (Dark) होने पर भी मॉनीटर (moniter) पर दिखाई देना कम हो जाता है। साथ ही यूजर को Keyboard पर कुछ type करके या Mouse को हिलाकर भी देख लेना चाहिए, क्‍योंकि कई बार स्‍क्रीन सेवर (Screen saver) के सेट हो जाने पर भी ऐसी स्थिति आ जाती है।

3. कम्‍प्‍यूटर का धीमा चलना - कम्‍प्‍यूटर की मेमोरी (Memory) में स्‍पेस कम या स्‍पेस न होने के कारण यह समस्‍या उत्‍पन्‍न होती है। इसके समाधान (Solution) के लिए User को टेम्‍परेरी फाइल्‍स (Temporary files) का डिलीट करने के साथ यह भी सुनिश्चित करना चाहिए कि Background में कोई स्‍कैनिंग (Scanning) या स्‍टार्टअप (Startup) प्रोग्राम ना चल रहा हो। साथ में मेमोरी अपग्रेडेशन (Memory up gradation) ने भी यह समस्‍या कम हो जाती है।

4. किसी सॉफ्टवेयर का इन्‍स्टॉलेशन के बाद भी न चलना - किसी Software को Install करने के बाद भी उसका न चलना एक बहुत सामान्‍य समस्‍या है। इसका एक कारण यह भी हो सकता है कि Software का कोई नया अपडेटेड वर्जन बाजार में उपलब्‍ध हो। 

यदि किसी सॉफ्टवेयर के Installation के बाद से कम्‍प्‍यूटर के चलने में कई परेशानी होती है, तो उस Software को अनस्‍टॉल (Uninstall) कर देना चाहिए।

इसके अलावा किसी प्रोग्राम के Installation के बाद बूटिंग में परेशानी होने पर सेफ (Safe) मोड़ में जाकर बूटिंग करनी चाहिए।

5. प्रिंटर में समस्‍या - प्रिंटर (printer) के इन्‍स्‍टॉलेशन (Installation) के बाद भी प्रिंटर के न चलने पर सबसे पहले यह सुनिश्चित करें कि printer की हरी green Light on है या नहीं। यदि प्रिंटरों में आरेंज रंग की Light जल रही हो अथवा Light ब्लिंक करे, तो इसका अर्थ होता है कि printer में पेपर जाम हो गया है अथवा इंक या कार्ट्रिज की कोई समस्‍या है, जिसे ठीक कर देने पर प्रिंटर ठीक प्रकार से चलेगा।

6. कम्‍प्‍यूटर का बिना किसी चेतावनी के बन्‍द होना या रीस्‍टार्ट होना -
इस समस्‍या का एक कारण RAM का अपनी जगह से हिला या CPU के पंखे (Fan) का बन्‍द हो जाना हो सकता है। इसके अलावा Lose तारों के कारण भी यह समस्‍या उत्‍पन्‍न हो सकती है। इन समस्‍याओं को यूजर द्वारा ठीक करने पर Computer पहले की तरह कार्य करने लगेगा।
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